10 मिनट के चार्ज में 1200Km की रेंज देगी यह Toyota की ‘सॉलिड-स्टेट बैटरी’

अगर किसी के मन में इलेक्ट्रिक व्हीकल खरीदने का प्लान होता है तो सबसे पहले उसके दिमाग में व्हीकल रेंज को लेकर एक सवाल जरूर आता है। ऐसा में कंपनी पावरफुल और एडवांस्ड बैटरी का इस्तेमाल करती है तो वाहन बेहतर रेंज देने में सक्षम होगी।

इसी को देखते हुए वाहन निर्माता कम्पनी टोयोटा इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए एक अस्त्र की बैटरी पर काम कर रही है। कम्पनी ने एक सॉलिड-स्टेट बैटरी बनाने की तैयारी में जुटी हुई है और इसके करीब भी पहुंच चुकी है। बैटरी लिथियम आयन बैटरी के मुकाबले काफी अलग-अलग दिन है। कंपनी अभियान दिया है कि अगर सब कुछ ठीक-ठाक रहा तो कंपनी इस तरह की बैटरी का उत्पादन साल 2027 या 28 तक शुरू कर सकती है।

Toyota working on an electric car which will offer 1200KM range
Toyota electric car

12,00 किलोमीटर तक की देगी रेंज

कंपनी ने यह बयान जारी किया है कि अगर इस बैटरी को इसी सेक्टर में लॉन्च किया जाएगा तो इलेक्ट्रिक व्हीकल की रेंज बढ़कर 1200 किलोमीटर तक जा सकती है जो काफी बड़ी बात है। सबसे खास बात इस बैटरी किया है कि इस सिंपल चार्ज से मात्र 10 मिनट में फुल चार्ज किया जा सकता है। इन सभी कार्य के लिए टोयोटा ने सॉलिड-स्टेट बैटरियों के बड़े पैमाने पर उत्पादन के लिए एक प्रमुख जापानी तेल कंपनी इडेमित्सु (Idemitsu) के साथ काम करने पर सहमति व्यक्त की है।

सॉलिड-स्टेट बैटरी और लिथियम-आयन बैटरी में अंतर

अगर देखा जाए तो आजकल के अधिकांश इलेक्ट्रिक व्हीकल में लिथियम आयन बैटरी का इस्तेमाल किया जा रहा है। लिथियम एक महंगा पदार्थ है और इसकी उपलब्धता भी सीमित है इसलिए इलेक्ट्रिक व्हीकल के दाम थोड़े मांगे हैं।

लेकिन अगर सॉलिड-स्टेट बैटरी की बात करे तो कंपनी ने यह कहा है कि सॉलिड-स्टेट बैटरी (SSB) में जो भी कंपोनेंट इस्तेमाल किए जाते हैं वो सॉलिड यानी ठोस अवस्था में होते हैं। सॉलिड-स्टेट बैटरी कैथोड, एनोड और सॉलिड इलेक्ट्रोलाइट से बनी होती है। यह लिथियम-आयन बैटरियों से काफी अलग होती है, जिसमें लिक्विड इलेक्ट्रोलाइट का उपयोग किया जाता है।

दो तरह के होते है सॉलिड-स्टेट बैटरी है

कम्पनी ने यह बताया है कि सॉलिड-स्टेट बैटरियों को निर्माण विधी के आधार पर मोटेतौर पर दो तरह से बांटा गया है। एक है “बल्क” और दूसरा है “थिन-फिल्म। इन दोनों में एनर्जी स्टोरेज कैपेसिटी भिन्न होती हैं, बल्क (Bulk) बैटरियों में ज्यादा एनर्जी स्टोर करने की क्षमता होती है जिनका इस्तेमाल इलेक्ट्रिक वाहन इत्यादि में किया जा सकता है. दूसरी ओर ‘थिन-फिल्म’ (Thin-film) बैटरी में कम एनर्जी स्टोर होती हैं, लेकिन ये लांग लॉस्टिंग होती हैं।

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Rajeev Ranjan, an accomplished author and visionary thinker with a B.Tech degree in Electrical Engineering, brings a dynamic blend of technical expertise, unwavering passion for electric vehicles (EVs). Contact: [email protected]

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